Ikshumati Tirth, Polad

View Direction About KDB इक्षुमति तीर्थ पोलड़ प्राचीन सरस्वती नदी तट पर स्थित तीर्थ यह तीर्थ प्राचीन नदी इक्षुमति (सरस्वती) से सम्बन्धित है। इस नदी का उल्लेख पाणिनी ने भी किया है। महर्षि बाल्मीकि कृत रामायण के अयोध्या काण्ड में जिस समय महर्षि वशिष्ठ की आज्ञा से पाँच दूत कैकय देश के राजगृह नगर में […]
SuTirth , Saunttha

View Direction About KDB सुतीर्थ सोथा पितृलोक प्रदाता तीर्थ महाभारत के अनुसार सर्वश्रेष्ठ सुतीर्थ में जाना चाहिए जहाँ नित्य पितर एवं देवताओं का सान्निध्य रहता है। वहाँ जाकर पितरों एवं देवताओं की अर्चना एवं अभिषेक करना चाहिए। ऐसा करने वाले मनुष्य को अश्वमेध यज्ञ का फल प्राप्त होता है एवं वह पितृ लोक को प्राप्त […]
Sheetwan / Swargadwar Tirth, Sevan

View Direction About KDB स्वर्गद्वार तीर्थ सीवन प्राचीन शीत वन स्थित तीर्थ वामन पुराण में कहा गया है कि नियत आहार करने वाले एवं जितेन्द्रिय मनुष्य को अवश्य ही शीतवन का सेवन करना चाहिए। लोक प्रचलित परम्परा इसे जनकनन्दिनी सीता से भी सम्बन्धित मानती है। प्रचलित विश्वास के अनुसार सीता इसी स्थान पर धरती में […]
Maatre Tirth, Rasulpur

View Direction About KDB मातृ तीर्थ रसूलपुर मातृकाओं से सम्बन्धित तीर्थ पौराणिक कथाओं के अनुसार यहां भगवान शिव के ललाट से श्वेद कण गिरने से मातृकाओं की उत्पत्ति हुई थी जिन्होंने असुरों का विनाश किया। इस पर देवताओं ने माताओं को शिव के समान ही पूजा व सम्मान प्राप्त होने का वरदान दिया। जहाँ-जहाँ माताएं […]
Srikunj Tirth, Banpura

View Direction About KDB श्रीकुंज तीर्थ बानपुरा प्राचीन सरस्वती की धारा पर स्थित तीर्थ महाभारत एवं वामन पुराण दोनों में ही इस तीर्थ को सरस्वती के तट पर स्थित बताया गया है। महाभारत के अनुसार यहाँ स्नान करने पर मनुष्य को अग्निष्टोम यज्ञ का फल मिलता है। वामन पुराण के काल में भी इस तीर्थ […]
Naimish Tirth, Nauch

View Direction About KDB नैमिष तीर्थ नौच ऋषियों द्वारा निर्मित तीर्थ महाभारत के वन पर्व के अनुसार नैमिष कुंज नामक इस तीर्थ का निर्माण नैमिषारण्य में निवास करने वाले मुनियों ने कुरुक्षेत्र भूमि में किया था। महाभारत के अनुसार नैमिष तीर्थ सिद्धों के द्वारा सेवित एवं पुण्यमयी तीर्थ है जहाँ देवताओं के साथ ब्रह्मा नित्य […]
Vedvati Tirth, Balwanti

View Direction About KDB वेदवती तीर्थ बलवन्ती प्राचीन कुरुक्षेत्र भूमि का रामायण कालीन तीर्थ कुरुक्षेत्र भूमि के इस तीर्थ का उल्लेख रामायण के उत्तरकाण्ड तथा वामन पुराण में मिलता है। कहा जाता है कि इस तीर्थ पर रावण के अपमान से दुःखी होकर वेदवती ने अग्नि में प्रवेश किया तथा दूसरे जन्म में राजा जनक […]
Kotikoot Tirth, Kyodak

View Direction About KDB कोटिकूट तीर्थ क्योड़क कुन्ती से सम्बन्धित तीर्थ ब्रह्म पुराण के अनुसार इस तीर्थ में करोड़ तीर्थ समाविष्ट हैं। प्रचलित जनश्रुति के अनुसार महाभारत काल में कुन्ती के द्वारा आत्मग्लानि से युक्त होने पर एक ऋषि ने इनको प्रायश्चित स्वरूप एक करोड़ तीर्थों में स्नान करने का परामर्श दिया। तब कुन्ती ने […]
Banteshwar Tirth, Barot

View Direction About KDB बंटेश्वर तीर्थ बरोट ऋषि कर्दम की तपोस्थली जनश्रुति के अनुसार यहाँ कर्दम मुनि ने अपनी धर्मपत्नी के साथ पुत्र प्राप्ति के लिए भगवान विष्णु को प्रसन्न करने हेतु तप किया था। अतः यह मान्यता है कि जो भी व्यक्ति इस तीर्थ में पुत्र की मनोकामना से स्नान करता है, वह अवश्य […]
Pavanhad Tirth, Pabnava

View Direction About KDB पवनहद तीर्थ पबनावा मरुदगणों से सम्बन्धित तीर्थ महाभारत में इसे पवन देवता से तथा वामन पुराण में महादेव एवं पवन दोनों से सम्बन्धित बताया गया है। पौराणिक आख्यानों के अनुसार यह वही सरोवर है जहां पवन देव पुत्रशोक से संतप्त होकर विलीन हो गए थे, तत्पश्चात् ब्रह्मा जी के साथ सभी […]
Gadratheshwar Tirth, Kaul

View Direction About KDB गढ़रयेश्वर तीर्थ कौल कर्ण वध से सम्बद्ध तीर्थ जनश्रुतियों के अनुसार इसी स्थान पर महाभारत युद्ध के 17वें दिन अर्जुन से युद्ध करते समय यशस्वी दानवीर कर्ण के रथ का पहिया जमीन में धँस गया था। इसी समय महापराक्रमी अर्जुन के द्वारा कर्ण का वध कर दिया गया था। प्रचलित किंवदन्तियों […]
Kulottaran Tirth, Kaul

View Direction About KDB कुलोत्तारण तीर्थ कौल प्राचीन कुरुक्षेत्र के मोक्ष तीर्थों में से एक कुरुक्षेत्र भूमि के मोक्ष तीर्थों में से यह एक प्रमुख तीर्थ है। महाभारत में इस तीर्थ का नाम कुलम्पुन है। वामन पुराण के अनुसार इस तीर्थ का निर्माण भगवान विष्णु ने वर्णाश्रम धर्म का पालन करने वाले मनुष्यों को तारने […]